भोपाल : भोज विवि की उच्च शिक्षा स्कीम का नहीं ले रहे फायदा 34 MLA 12वीं पास, माननीयों की ग्रेजुएशन में दिलचस्पी नहीं
मप्र विधानसभा के 230 में से 34 विधायक ऐसे हैं, जिन्होंने केवल 12वीं तक की पढ़ाई की है। ऐसे विधायकों की शैक्षणिक योग्यता बढ़ाने के पीपुल्स समाचार लिए उच्च शिक्षा विभाग ने इसी सत्र से भोज मुक्त विवि से उन्हें यूजी-पीजी करने का मौका दिया, लेकिन एक भी विधायक ने अब तक इसमें दिलचस्पी नहीं दिखाई है। हालांकि विवि इसके लिए तैयार है।
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दरअसल, भोज विश्वविद्यालय ने इस साल मप्र विधानसभा को एक प्रस्ताव भेजा था, जिसके तहत विधायकों को उच्च शिक्षा देने की बात कही गई थी। विवि ने यह सुविधा उच्च पदों पर बैठे ऐसे लोगों के लिए शुरू की थी, जो किसी कारण अपनी पढ़ाई पूरी नहीं कर सके हैं। उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव ने खुद विद्यायकों की उच्चशिक्षा पर काफी जोर दिया था। विवि के कुलपति डॉ. जयंत सोनवलकर ने बताया कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति में उम्र और शिक्षा का बंधन नहीं है। विश्वविद्यालय ने विधायकों और जनप्रतिनिधियों को उनकी सुविधा के अनुसार पढ़ाने की तैयारी की है अब तक 71 हजार से अधिक विद्यार्थी विवि में प्रवेश ले चुके हैं।

क्या है विधायकों की शैक्षणिक योग्यता
- 88 ग्रेजुएट
- 34 बारहवीं पास
- 25 – 5वीं से 10वीं पास
- 78 अन्य शिक्षा
- 5 केवल साक्षर
विधायक बना रहे बहाने
विधायक यह मानते हैं कि उच्च शिक्षित जनप्रतिधि निश्चित ही प्रदेश के विकास में अहम भूमिका निभा सकता है, लेकिन सत्ता पक्ष के कुछ विधायकों ने कहा- सरकार ने शैक्षणिक योग्यता बढ़ाने के लिए यह अच्छी योजना लागू की है, लेकिन इसका सही तरीके से प्रचार प्रसार नहीं हुआ है। वहीं कुछ ने कहा एडमिशन तो ले लें, लेकिन पढ़ाई करने के लिए समय भी तो होना चाहिए।
लैपटॉप लिया, चलाना नहीं आता
विधायकों ने मौका मिलने के बाद अपनी शैक्षणिक योग्यता बढ़ाने में भले ही कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई है, लेकिन जब लैपटॉप का वितरण किया गया तो किसी ने मना नहीं किया। जबकि 50 फीसदी से अधिक ऐसे विधायक हैं, जिन्हें लैपटॉप चलाना तो दूर उसे ओपन करना नहीं आता है।
अच्छी योजना है, चर्चा करूंगा
जनप्रतिनिधियों की शैक्षणिक योग्यता बढ़ाने के लिए अच्छी योजना लागू की है। विधायकों को इसका लाभ अवश्य लेना चाहिए। मैं इस संबंध में विधायकों से चर्चा करूंगा। –गिरीश गौतम, विस अध्यक्ष, मप्र
क्या कहते हैं विधायक
उच्च शिक्षित होना जरूरी है और उच्च शिक्षा विभागका प्रयास भी सराहनीय है। मैं अपनी शैक्षणिक योग्यता से संतुष्ट हूं और आगे की पढ़ाई नहीं करना चाहती हूं। – नीना वर्मा, विधायक, धार
मुझेऐसी किसी योजना के बारे में कोई जानकारी नहीं है। अपनी हायर एजुकेशन के लिए प्राइवेट स्तरपर प्रयास कर रहा हू –संजय शुक्ला, विधायक, इंदौर-1