आज के इस आर्टिकल में हम आपको Chhath Pooja 2022 Date and timing के बारे में बताने वाले हैं इसके साथ ही हम आपको छठ पूजा महापर्व के बारे में संपूर्ण जानकारी विस्तार से देने वाले हैं. यहा हम छठ पूजा करने का शुभ मुहूर्त और पूजा करने की विधि आदि सभी के बारे में आपको बताने वाले हैं. साथी हम आपको छठ पूजा के पहले दिन दूसरे दिन तीसरे दिन और चौथे दिन के बारे में भी पूरी जानकारी बताएंगे कि आपको इन दिनों में क्या करना चाहिए और क्या नहीं करना चाहिए. पूजा की क्या विधि होनी चाहिए सूर्य को अर्ध्य देने का क्या समय होना चाहिए. आदि सभी बारे में हम आपको विस्तार पूर्वक बताने वाले हैं. अगर आप भी छठ पूजा के बारे में संपूर्ण जानकारी जानना चाहते हैं तो इस आर्टिकल को अंत तक ध्यान पूर्वक पढ़ते रहें ताकि कोई भी महत्वपूर्ण जानकारी आप से ना छूटे. तो आइए छठ पूजा के बारे में सभी शुभ मुहूर्त और पूजा विधि के बारे में विस्तार से जानते हैं.
Chhath Pooja 2022 Date and timing
दीपावली के बाद से छठ पूजा का महापर्व शुरू हो जाता है. छठ पूजा कार्तिक माह की शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को मनाई जाती है इस महापर्व के अंतर्गत प्रात:काल में भगवान सूर्य को अर्घ्य देते हैं और पारण करके व्रत को पूरा किया जाता है. छठ पूजा कोई 1 दिन का महापर्व नहीं होता बल्कि यहां चार दिनों का महापर्व होता है. छठ पूजा का यह पर्व नहाय खाय से शुरू होता है जो कि प्रात:कालीन सूर्य को अर्घ्य देकर समाप्त किया जाता है. अधिकांश जगहों पर इस महापर्व की तैयारियां दिवाली से पहले ही शुरू कर दी जाती है. इस पूजा के अंतर्गत छठी मैया और सूर्य देवता की पूजा निर्जला व्रत रखकर की जाती है. इस व्रत को सबसे कठिन माना जाता है. छठ पूजा को बिहार, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, मुबई समेत देश के अनेक छोटे-बड़े शहरों में मनाया जाता है. तो आइए हम आपको दृक पंचांग के माध्यम से बताते हैं कि कौन सा योग कब बन रहा है और किस दिन क्या पूजा करनी होगी सभी के बारे में हम आपको यहां पर बताने वाले हैं.
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Chhath Puja 2022 start date and end Date
इस वर्ष 2022 में छठ पूजा का महापर्व 28 अक्टूबर से ही शुरू होने वाला है जोकि 4 दिन तक यानी 31 अक्टूबर तक चलेगा. तो आइए सभी दिनों के शुभ मुहूर्त के बारे में पूरी विस्तार से जानकारी जानते हैं.
छठ पूजा का पहला दिन
छठ पूजा का प्रारंभ नहाय-खाय से होता है. हर साल दिवाली के 4 दिन बाद यानी कार्तिक माह की चतुर्थी को यह दिन आता है. नहाय-खाय के साथ छठ पूजा की शुरुआत की जाती है. इस दिन खास तौर पर घर की रसोई के साफ-सफाई पर विशेष तौर पर ध्यान दिया जाता है. छठ पूजा पर्व पर जो व्यक्ति छठ पूजा करता है उसकी खाना खाने के बाद ही परिवार के अन्य सदस्य खाना खाते हैं. सूर्योदय: प्रात: 06 बजकर 30 मिनट परसूर्योस्त: शाम 05 बजकर 39 मिनट पर. शुभ समय की बात करें तो शोभन योग: प्रात:काल से देर रात 01 बजकर 30 मिनटसर्वार्थ सिद्धि योग: सुबह 06 बजकर 30 मिनट से सुबह 10 बजकर 42 मिनट तकरवि योग: सुबह 10 बजकर 42 मिनट से अगली सुबह 06 बजकर 31 मिनट तक रहने वाला है.

छठ पूजा का दूसरा दिन
लोहंडा और खरना 2022: छठ पूजा के दूसरे दिन खरना होता है. इस दिन व्रत करने वाला व्यक्ति पूरी श्रद्धा और भक्ति के साथ स्नान करके दूसरे दिन का व्रत करता है. इस दिन भोग के लिए गुड़ की खीर बनाई जाती है. वही सबसे महत्वपूर्ण बात तो यह है कि इस खेल को गैस पर ना बनाकर मिट्टी के नए चूल्हे पर आम की लकड़ियों से आग जलाकर बनाया जाता है. शुभ समय की बात करें तो रवि योग: सुबह 06 बजकर 31 मिनट से सुबह 09 बजकर 06 मिनट तकसुकर्मा योग: रात 10 बजकर 23 मिनट से अगली सुबह तक रहेगा.
छठ पूजा का तीसरा दिन
छठ पूजा का संध्या अर्घ्य 2022: इस दिन व्रत करने वाला व्यक्ति शाम की पूजा की तैयारी करता है. पूजा का तीसरा दिन इस वर्ष 30 अक्टूबर 2022 को रहेगा. पूजा के लिए बांस की टोकरी में अर्घ्य का सूप सजाया जाता है. फिर व्रती पूरे परिवार के साथ घाट पर जाकर पानी में खड़े होते हैं और डूबते सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है. इस दिन सूर्यास्त 5:38 पर होगा. शुभ समय की बात करें तो शुभ समयसुकर्मा योग: प्रात: काल से शाम 07 बजकर 16 मिनट तकधृति योग: शाम 07 बजकर 16 मिनट से अगली सुबह तक रवि योग: सुबह 07:26 बजे से अगले दिन सुबह 05:48 बजे तकसर्वार्थ सिद्धि योग: सुबह 06:31 बजे से सुबह 07:26 बजे तक रहेगा.
छठ पूजा का चौथा दिन
छठ पूजा का प्रात: अर्घ्य 2022: यह पूजा का अंतिम दिन है जो कि इस वर्ष 31 अक्टूबर 2022 को रहेगा. छठ पूजा के चौथे दिन उगते हुए सूर्य को अर्ध्य दिया जाता है. अर्घ्य देने से पहले व्रत करने वाला व्यक्ति भगवान सूर्य के दर्शन करते हैं और पानी में खड़े रहते हैं. इसके बाद उगते सूर्य को अर्घ्य देने के बाद व्रत का पारण किया जाता है. शुभ मुहूर्त की बात करें तो शुभ समयसर्वार्थ सिद्धि योग: प्रात: 05:48 बजे से सुबह 06:32 बजे तकत्रिपुष्कर योग: प्रात: 05:48 बजे से सुबह 06:32 बजे तक रहेगा.
सभी को बताना चाहेंगे कि यह बताई गई संपूर्ण जानकारी धार्मिक आस्थाओं पर आधारित है इसके लिए हमारी वेबसाइट जिम्मेदार नहीं हैं आप इसके लिए किसी विशेषज्ञ से अवश्य सलाह लें.
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